फर्रुखाबाद। (एफबीडी न्यूज़) अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉक्टर रंजन गौतम ने अस्पताल संचालक सचिन गुप्ता एवं डॉक्टर अरविंद को पुलिस के हवाले कर फर्जीवाड़ा करने की रिपोर्ट दर्ज कराई है। डिप्टी सीएमओ डा0 गौतम ने बीते दिन कोतवाली फतेहगढ़ में उक्त व्यक्तियों के विरुद्ध रिपोर्ट दर्ज कराई। जिसमें उन्होंने कहा है कि 3 बजे एम0जे0 हस्पिटल, रोहिला चौराहा शास्त्री नगर मोहम्मदाबाद, के संचालक सचिन गुप्ता द्वारा अपने केन्द्र में अल्ट्रासाउण्ड केन्द्र खोले जाने की प्रक्रिया के अन्तर्गत रेडियोलजिस्ट/सोनोलजिस्ट का सत्यापन कराये जाने हेतु अरविन्द नामक व्यक्ति डा देवश्री पुत्र पी०के० शर्मा, निवासी ग्राम टियरी मनीराम पोस्ट- बिठुआ, भिटुआ, जनपद-
आजमगढ़।
हाल पता मोहम्मदाबाद के चिकित्सकीय योग्यता सम्बन्धी प्रमाण-पत्र की छायाप्रति लेकर स्वयं को डा0 देव श्री बताकर एवं फर्जी आधारकार्ड
सं0-540645106534 स्वयं लेकर मेरे सम्मुख उपस्थित हुआ। चिकित्सकीय अभिलेख एव शपथ-पत्र पर रेडियोलजिस्ट के हस्ताक्षर वेरीफिकेशन के उपरान्त अभिलेखीय साक्षात्कार के दौरान कुछ
संदेहास्पद तथ्य सामने आये। जिनको और गहनता से विमर्श करने के बाद तथा कथित चिकित्सक चिकित्सकीय भिजता से पूर्णतः अनजान पाया गया। इसको दृष्टिगत रखते हुए जन कल्याण एवं सुरक्षा की दृष्टि से डायल 112 पुलिस बुलाई।
एम0जे0 हस्पिटल के संचालक सचिन गुप्ता एवं तथाकथित चिकित्सक अरविन्द (जो डा0 देव श्री, रेडियोलजिस्ट, स्टेट मेडिकल काउंसिल की पंजीकरण सं0-81386 बनकर आया था।) को पुलिस को सुपुर्द कर दिया। एम०जे० हस्पिटल के संचालक सचिन गुप्ता द्वारा यह भी अवगत कराया गया कि किसी उमाकान्त नाम के व्यक्ति, जिसका दूरभाष नंम्बर- 8957872286 जिसके द्वारा इसको अपने संरक्षण में लाया गया था। इसके अतिरिक्त 15 से 16 अन्य रेडियोलजिस्ट के अभिलेख भी उमाकान्त के जानने वाले 50 आरिफ जो देव अल्ट्रासाउण्ड, भर्थना, इटावा में संचालित करते है।
एम0जे0 हस्पिटल के संचालक के व्हाट्स एप पर भेजे गये हैं। रिपोर्ट में डॉक्टर गौतम ने कहा है कि चिन्ता का विषय है कि उक्त अभिलेखों का भी किसी अन्य केन्द्र एवं जनपदों/राज्यों में दुरुपयोग न हो सके। अतः आपसे सादर अनुरोध है कि आप उक्त व्यक्तियों के विरुद्ध सुसंगत धाराओं के अन्तर्गत प्राथमिकी दर्ज कर कानूनी कार्यवाही करने का कष्ट करे तथा एम०जे० हस्पिटल के संचालक के व्हाट्स एप पर भेजे गये अभिलेखों की गहन विवेचना कर इस गिरोह का शीघ्र अतिशीघ्र खुलासा करने का कष्ट करें। जिससे कि जनमानस को अनावश्यक जनहानि से बचाया जा सके।